एएमयू कुलपति ने विश्वविद्यालय परिसर में किया पौधारोपण अभियान का शुभारंभ किया

Chanchal Varma
0

अलीगढ मीडिया डिजिटल, अलीगढ़ 13 जुलाईः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. नईमा खातून ने आज राष्ट्रीय अभियान “एक पेड़ मां के नाम” के तहत बड़े पैमाने पर पौधारोपण अभियान का उद्घाटन किया। यह अभियान विश्वविद्यालय के भूमि एवं उद्यान विभाग द्वारा पर्यावरणीय स्थिरता को बढ़ावा देने और एएमयू परिसर को और हरा भरा बनाने के लिए शुरू किया गया है। प्रो. खातून ने जलवायु परिवर्तन से निपटने, जैव विविधता को संरक्षित करने और भावी पीढ़ियों के लिए एक स्वस्थ पारिस्थितिकी तंत्र सुनिश्चित करने में पेड़ों की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मिशन लाइफ (पर्यावरण मंत्रालय, भारत सरकार) की पहल ‘एक पेड़ माँ के नाम’ अभियान का उद्देश्य लोगों को पेड़ लगाने और एक हरित ग्रह में योगदान देने के लिए प्रोत्साहित करना है।


उन्होंने कहा कि एक पेड़ माँ के नाम अभियान केवल पेड़ लगाने के बारे में नहीं है, यह हमारे ग्रह का पोषण करने और इसकी भलाई की जिम्मेदारी लेने के बारे में है। उन्होंने कहा कि आज हम जो भी पेड़ लगाते हैं, वह टिकाऊ भविष्य की ओर एक कदम है। उन्होंने पर्यावरण संरक्षण के प्रति विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला और सभी से इस तरह की पहल में सक्रिय रूप से भाग लेने का आग्रह किया।


इससे पूर्व अतिथियों का स्वागत करते हुए भूमि एवं उद्यान विभाग के मेम्बर इंचार्ज प्रो. जकी अनवर सिद्दीकी ने कहा कि बरसात के मौसम में 5 हजार से अधिक पौधे लगाए जाएंगे। उन्होंने विश्वविद्यालय के कर्मचारियों और छात्रों से एक पेड़ मां के नाम अभियान में बड़ी संख्या में भाग लेने और विश्वविद्यालय परिसर को हरियाली और वनस्पतियों और जीवों से समृद्ध बनाने में मदद करने का आग्रह किया।


एसोसिएट मेंबर-इन-चार्ज डॉ. तारिक आफताब ने कहा कि इस अभियान का उद्देश्य पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत बनाना, कार्बन के प्रभाव को कम करना और सभी के लिए जीवन की गुणवत्ता को बढ़ाना है। उन्होंने बताया कि आज विभिन्न प्रकार के पौधे जैसे कैसिया फिस्टुला, चोरिसिया प्रजाति, सीबा प्रजाति, रॉयस्टोनिया रेजिया, तथा झाड़ियाँ जैसे नेरियम, जट्रोफा, हिबिस्कस, प्लुमेरिया, लेजरस्ट्रोमिया आदि लगाए गए हैं, जो स्थानीय पर्यावरण के लिए उनके पर्यावरणीय लाभों तथा अनुकूलनशीलता को ध्यान में रखते हुए लगाए गए हैं। उन्होंने धन्यवाद ज्ञापन भी किया।


इस अवसर पर प्रोफेसर एम वसीम अली, (प्रॉक्टर), प्रोफेसर आसिम जफर (ओएसडी विकास), प्रोफेसर आयशा फारूक (डीन, प्रबंधन अध्ययन और अनुसंधान), प्रोफेसर  शकील अहमद, प्रो सलमा अहमद, प्रो शौकत हसीन, प्रो अनवर शहजाद, प्रो मो. नफीस अहमद अंसारी, प्रो. मेजर फरीद महदी, प्रो. अफरीना रिजवी, डॉ. शमीम अख्तर, डॉ. रियाज अहमद और मोहम्मद अय्यूब ने भी पौधारोपण अभियान में हिस्सा लिया।


एएमयू की डा. फहमीदा ने तिरुवनंतपुरम में व्याख्यान दिया

अलीगढ़ 13 जुलाईः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के अजमल खान तिब्बिया कॉलेज के निसवान वा कबालत विभाग की डॉ. फहमीदा जीनत, जो राष्ट्रीय भारतीय चिकित्सा पद्धति आयोग (एनसीआईएसएम) द्वारा मान्यता प्राप्त मास्टर ट्रेनर भी हैं, ने पंकजकस्थुरी आयुर्वेद मेडिकल कॉलेज (पीएएमसी), केली, तिरुवनंतपुरम, केरल में ‘वैज्ञानिक लेखन, प्रकाशन नैतिकता और अनुसंधान अखंडता’ पर राष्ट्रीय कार्यशाला और प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान व्याख्यान प्रस्तुत किया।


आयुष मंत्रालय, भारत सरकार के तहत कार्यरत एनसीआईएसएम द्वारा आयोजित कार्यशाला का उद्देश्य पीएएमसी से जुड़े आयुर्वेद, सिद्ध और यूनानी (एएसयू) के शिक्षकों और सलाहकारों की शोध और प्रकाशन दक्षता को बढ़ाना था। डॉ. जीनत ने अपनी प्रस्तुति में ‘यूनानी, आयुर्वेद और सिद्ध में केस रिपोर्ट और केस सीरीज’ और ‘प्रकाशन नैतिकता, अनुसंधान अखंडता और वैज्ञानिक कदाचार’ पर अपने विचार व्यक्त किये, जो एनसीआईएसएम के पीजी गाइड ओरिएंटेशन और क्षमता निर्माण कार्यक्रम के अभिन्न सिद्धांत हैं, जिसका उद्देश्य एएसयू चिकित्सा प्रणालियों में सलाहकार शिक्षकों को उच्च गुणवत्ता वाले और मूल वैज्ञानिक अनुसंधान का उत्पादन और प्रकाशन करने के कौशल से लैस करना है।


--------------------------

एएमयू के डॉ. फारूक डार डीजी प्रशंसा पुरस्कार से सम्मानित

अलीगढ़, 13 जुलाईः अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के यूनानी चिकित्सा संकाय के तशरीह व मनाफिउल अजा विभाग में एसोसिएट प्रोफेसर लेफ्टिनेंट डॉ. फारूक अहमद डार को एएमयू के जेएन मेडिकल कॉलेज ऑडिटोरियम में आयोजित एक समारोह में डीजी प्रशंसा पुरस्कार से सम्मानित किया गया। यह प्रतिष्ठित पुरस्कार अधिकारियों को राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी) में उनके अनुकरणीय प्रदर्शन और योगदान के लिए दिया जाता है।


लेफ्टिनेंट डॉ. डार को यह सम्मान ओटीए कैम्पटी नागपुर में उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए मिला, जहां उन्होंने हाल ही में एक प्रशिक्षण पाठ्यक्रम के दौरान योग्यता क्रम में पहला स्थान हासिल किया। यह पुरस्कार एनसीसी के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल गुरबीरपाल सिंह, पीवीएसएम, एवीएसएम, वीएसएम द्वारा प्रदान किया गया, जो कैडेटों को संबोधित करने के लिए पहली बार अलीगढ़ आए थे। इस कार्यक्रम में उच्च पदस्थ सैन्य अधिकारियों, एनसीसी अधिकारियों और अलीगढ़ समूह के विभिन्न कॉलेजों के कैडेटों सहित कई प्रतिष्ठित अतिथियों ने भाग लिया।

-------------------

प्रोफेसर मोहम्मद नवेद खान सीईसी के नये समन्वयक नियुक्त

अलीगढ़, 13 जुलाईः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन विभाग के प्रोफेसर मोहम्मद नवेद खान को तत्काल प्रभाव से दो साल की अवधि या अगले आदेश तक सांस्कृतिक शिक्षा केंद्र (सीईसी) का समन्वयक नियुक्त किया गया है। प्रोफेसर खान 25 वर्षों से अधिक समय से शिक्षण और अनुसंधान में लगे हुए हैं। उनकी दो पुस्तकें, 26 पुस्तक अध्याय और 110 से अधिक शोध पत्र प्रतिष्ठित राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय पत्रिकाओं में प्रकाशित हो चुके हैं। उन्होंने भारत और विदेशों में आयोजित कई सम्मेलनों और सेमिनारों में भाग लिया और सत्रों की अध्यक्षता की है।


वह पी.डी. सहित प्रबंधन में डॉक्टरेट अनुसंधान के लिए अग्रवाल टीसीआई पुरस्कार, एमराल्ड लिटरेटी पुरस्कार (2018), और कई सर्वश्रेष्ठ पेपर पुरस्कार के साथ कई पुरस्कारों से सम्मानित किये जा चुके हैं। डॉ. खान अकादमिक कार्यक्रम समिति, सीबीसीएस पाठ्यचर्या संशोधन समिति, विश्वविद्यालय की रैंकिंग के लिए समिति, आईक्यूएसी और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के विजन, मिशन और परिप्रेक्ष्य योजना तैयार करने के लिए समिति के सदस्य हैं। वह जम्मू केंद्रीय विश्वविद्यालय में यूजीसी एडजंक्ट फैकल्टी भी हैं। उनकी शोध रुचि के क्षेत्रों में विपणन, उपभोक्ता व्यवहार और अनुसंधान पद्धति शामिल हैं।

एक टिप्पणी भेजें

0टिप्पणियाँ

एक टिप्पणी भेजें (0)